Jewar airport first trial landing: सोमवार को जेवर में बन रहे नोएडा अंतरराष्ट्रीय हवाईअड्डे पर पहली बार ट्रायल लैंडिंग सफलतापूर्वक संपन्न हुई. यह हवाईअड्डा उत्तर प्रदेश के गौतम बुद्ध नगर जिले के जेवर क्षेत्र में राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र (एनसीआर) का दूसरा अंतरराष्ट्रीय हवाईअड्डा होगा. नोएडा के लिए सोमवार का दिए ऐतिहासिक रहा. एशिया का सबसे बड़ा एयरपोर्ट और देश का भी सबसे बड़ा एयरपोर्ट, जेवर इंटरनेशनल एयरपोर्ट पर इंडिगो की फ्लाइट की ट्रायल लैंडिंग हुई. जिस विमान की ट्रायल लैंडिंग हुई उसने लगभग 15 मिनट पहले दिल्ली से उड़ान भरा था. इस लैंडिंग के वक्त यूपी Tak की टीम भी जेवर एयरपोर्ट पर मौजूद थी. हमने भी अपने कैमरे से इस लैंडिंग को रिकॉर्ज किया.
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सोमवार को जेवर में स्मूथ और सक्सेसफुल लैंडिंग देखे को मिली. हालांकि लैंडिंग से पहले रनवे पर तमाम तरह के सेफ्टी इंस्ट्रूमेंट्स समेत पूरे मैकेनिज्म को तैयार रखा गया था. अब कहा जा रहा है कि 2025 में यहां से कमर्शियल फ्लाइट की आवाजाही शुरू हो जाएगी. ये पहला रनवे है जो करीब चार महीने पहले ही बनकर तैयार हुआ था. सोमवार को इसी रनवे पर ट्रायल रन हुआ है.
न्यूज एजेंसी-पीटाआई भाषा के मुताबिक, केंद्रीय नागरिक उड्डयन मंत्री किंजरापु राममोहन नायडू ने इसे परियोजना की दिशा में एक ऐतिहासिक कदम बताया। उन्होंने कहा, "यह लैंडिंग इस बात का प्रमाण है कि हम अप्रैल के अंत तक हवाईअड्डा तैयार करने के लक्ष्य को प्राप्त करने के लिए प्रतिबद्ध हैं." मंत्री ने 50 मिलियन मैन-आवर के साथ बिना किसी दुर्घटना के काम पूरा करने के लिए पूरी टीम की सराहना की. उन्होंने इसे देश की सबसे बड़ी और सुरक्षित परियोजनाओं में से एक बताया.
नोएडा एयरपोर्ट के सीईओ ने साझा की जानकारी
नोएडा अंतरराष्ट्रीय हवाईअड्डा के सीईओ क्रिस्टोफ श्नेलमैन ने कहा, "इस ट्रायल लैंडिंग की सफलता हमारी समर्पित योजना और कड़ी मेहनत का परिणाम है. अब हम जल्द ही वाणिज्यिक उड़ानों के लिए तैयार होने की ओर बढ़ रहे हैं." मंत्री नायडू ने हवाईअड्डे के निर्माण में किसानों और कामगारों के योगदान की प्रशंसा की. उन्होंने गौतम बुद्ध नगर के सांसद महेश शर्मा और जेवर के विधायक धीरेंद्र सिंह के प्रयासों की भी सराहना की.
भारत के बढ़ते हवाई अड्डे
मंत्री ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में देश के नागरिक उड्डयन क्षेत्र में हो रही प्रगति को रेखांकित किया. उन्होंने कहा कि पिछले 10 वर्षों में देश में हवाईअड्डों की संख्या लगभग दोगुनी हो चुकी है. यमुना इंटरनेशनल एयरपोर्ट प्राइवेट लिमिटेड, जो कि स्विस कंपनी ज्यूरिख इंटरनेशनल एयरपोर्ट एजी की सहायक कंपनी है, उत्तर प्रदेश सरकार के साथ पब्लिक-प्राइवेट पार्टनरशिप मॉडल पर इस हवाईअड्डे का निर्माण कर रही है.
यह सफल लैंडिंग नोएडा एयरपोर्ट को दुनिया के मानचित्र पर स्थापित करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है. आने वाले समय में यह एयरपोर्ट पश्चिमी उत्तर प्रदेश और दिल्ली-एनसीआर के लिए एक बड़ा ट्रांसपोर्टेशन हब साबित होगा.
(पीटीआई इनपुट्स के साथ)
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