लखीमपुर खीरी जिले के तिकुनिया थाना इलाके में हुई हिंसा के दौरान भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के दो कार्यकर्ताओं और एक चालक की मौत के मामले में अपर जिला सत्र न्यायाधीश (प्रथम) सुनील कुमार वर्मा की अदालत में शुक्रवार को सुनवाई शुरू हुई और अदालत ने अगली सुनवाई की तारीख 25 जनवरी मुकर्रर की है.
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अपर जिला शासकीय अधिवक्ता (एडीजीसी- अपराध) राजेश कुमार सिंह ने ‘पीटीआई-भाषा’ को बताया कि अभियोजन पक्ष ने मामले के शिकायतकर्ता सुमित जायसवाल को अदालत में गवाह के तौर पर पेश किया.
उन्होंने कहा कि अभियोजन पक्ष के गवाह सुमित जायसवाल के बयान दर्ज किए गए और बचाव पक्ष के वकीलों ने अभियोजन पक्ष के गवाह से जिरह शुरू कर दी.
सिंह ने कहा कि जिरह का निष्कर्ष नहीं निकाला जा सका, जिसके बाद एडीजे प्रथम सुनील कुमार वर्मा ने मामले में सुनवाई की अगली तारीख 25 जनवरी तय की है; उस दिन फिर से जिरह शुरू होगी.
उल्लेखनीय है कि तीन अक्टूबर, 2021 को लखीमपुर खीरी जिले के तिकुनिया थाना क्षेत्र में हुई हिंसा में चार किसानों, एक पत्रकार, दो भाजपा कार्यकर्ताओं और एक चालक सहित आठ लोगों की मौत हो गयी और अन्य कई घायल हो गए.
घटना के सिलसिले में दो प्राथमिकी दर्ज की गई थी. एक पक्ष की ओर से जगजीत सिंह द्वारा दर्ज कराई गयी प्राथमिकी में चार किसानों और एक पत्रकार को मार डालने के आरोप में केंद्रीय गृह राज्य मंत्री अजय कुमार मिश्रा ‘टेनी’ के पुत्र आशीष मिश्रा को मुख्य आरोपी बनाते हुए 12 से अधिक लोगों के खिलाफ मामला दर्ज कराया गया था जबकि दूसरी प्राथमिकी में दो भाजपा कार्यकर्ताओं और एक चालक की मौत के मामले में सुमित जायसवाल की ओर से प्राथमिकी दर्ज कराई गई थी.
घटना के सिलसिले में दो प्राथमिकी दर्ज की गई थी। एक पक्ष की ओर से जगजीत सिंह द्वारा दर्ज कराई गयी प्राथमिकी में चार किसानों और एक पत्रकार को मार डालने के आरोप में केंद्रीय गृह राज्य मंत्री अजय कुमार मिश्रा ‘टेनी’ के पुत्र आशीष मिश्रा को मुख्य आरोपी बनाते हुए 12 से अधिक लोगों के खिलाफ मामला दर्ज कराया गया था जबकि दूसरी प्राथमिकी में दो भाजपा कार्यकर्ताओं और एक चालक की मौत के मामले में सुमित जायसवाल की ओर से प्राथमिकी दर्ज कराई गयी थी.
लखीमपुर खीरी हिंसा: सत्र न्यायाधीश ने SC से कहा- ‘सुनवाई पूरी करने में 5 साल लग सकते हैं’
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