UP News: उत्तर प्रदेश के अवध क्षेत्र में बाढ़ अपना कहर बरपा रही है. राप्ती और सरयू नदी में आई बाढ़ ने बलरामपुर, श्रावस्ती और बहराइच के 600 से ज्यादा गांवों को अपनी चपेट में ले लिया है. स्थिति बेकाबू होते देख एनडीआरएफ और एसडीआरएफ की टीमों ने अलग-अलग जिलों में मोर्चा संभाल लिया है. आपका बता दें कि पिछले दिनों से हो रही भारी बारिश और नेपाल से पानी छोड़े जाने की वजह से राप्ती नदी का जलस्तर तेजी से बढ़ रहा है.
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मिली जानकारी के अनुसार, बलरामपुर में 300 से ज्यादा गांव बाढ़ में डूब गए हैं, तो शहर तक में भी पानी आ गया है. राप्ती नदी खतरे के निशान से 1 मीटर ऊपर बह रही है, जलस्तर के अभी भी बढ़ने की आशंका है.
मिली जानकारी के अनुसार, श्रावस्ती जिले में राप्ती नदी का कहर देखने को मिल रहा है. यहां बाढ़ के पानी से अब तक जिले में चार लोगों की मौत हो गई है. अलग-अलग जगहों पर बाढ़ के पानी के तेज बहाव में बहने से लोगों की मौत हुई है. बता दें कि तहसील इकौना के दहावर कला में पानी के तेज बहाव में बहने से विनीता की मौत, तहसील इकौना के मधनगर में पानी मे गिरकर महिला जमीला की मौत, तहसील भिनगा के केशवापुर में बाढ़ के पानी में डूबने से तीरथराम की मौत हुई है.
उक्त तीनों शवों को फ्लड पीएसी ने बाढ़ के पानी में रेस्क्यू कर बरामद कर लिया है. वहीं, राहत सामग्री बाटने गए लेखपाल चंद्रभूषण पानी में डूब गए थे, जिनका अभी तक सुराग नहीं लगा है.
आपको बता दें कि भारत नेपाल सीमावर्ती जिले बहराइच में बाढ़ की स्थिति लगातार भयावह होती जा रही है. पिछले चार दिनों के दौरान जिले में हुई बारिश के चलते नेपाल की पहाड़ी नदियों से आए पानी ने जमकर तांडव मचाया है.
इसके चलते जिले की चार तहसीलों मोतीपुर, नानपारा, महसी वा कैसरगंज में घाघरा और सरयू नदी के बड़े जलस्तर के कारण बाढ़ के हालात बने हुए हैं. इन नदियों के तटवर्ती क्षेत्रों के सैकड़ों गांव जलमग्न हैं. यहां घाघरा के जलस्तर में बढ़ोत्तरी जारी है, तो दूसरी ओर सरयू खतरे के निशान से लगभग 30 सेमी ऊपर बह रही है.
(बहराइच से राम बरन चौधरी, बलरामपुर से सुजीत और श्रावस्ती से पंजक वर्मा के इनपुट्स के साथ)
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