लड़कियों की शादी की न्यूनतम उम्र बढ़ाने का प्रस्ताव: यूपी के खाप नेता क्यों हो रहे खफा

भाषा

• 11:29 AM • 17 Dec 2021

उत्तर प्रदेश के कुछ खाप नेताओं ने सरकार के उस फैसले का विरोध किया है जिसमें विवाह के लिए लड़कियों की न्यूनतम उम्र कानूनी रूप…

UPTAK
follow google news

उत्तर प्रदेश के कुछ खाप नेताओं ने सरकार के उस फैसले का विरोध किया है जिसमें विवाह के लिए लड़कियों की न्यूनतम उम्र कानूनी रूप से बढ़ाने का प्रस्ताव है. उनका कहना है कि इससे समाज पर बुरा असर होगा और महिलाओं के खिलाफ अपराधों में वृद्धि होगी.

यह भी पढ़ें...

उल्लेखनीय है कि केंद्रीय मंत्रिमंडल ने बुधवार को लड़कियों के विवाह के लिए न्यूनतम उम्र को मौजूदा 18 साल से बढ़कार पुरुषों के बराबर 21 साल करने के प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है.

सरकार की ओर से संसद के मौजूदा शीतकालीन सत्र में इससे संबंधित बाल विवाह निषेध अधिनियम-2006 में संशोधन के लिए विधेयक लाए जाने की संभावना है.

कालखांडे खाप के प्रमुख चौधरी संजय कालखांडे ने कहा कि लड़कियों की विवाह की उम्र बढ़ाने के फैसले का ‘बुरा’ असर समाज पर पड़ेगा.

उन्होंने कहा कि युवाओं की आज प्रौद्योगिकी (सोशल) तक पहुंच होने के कारण से यहां तक कि 14 साल की लड़की भी विवाह के लिए पर्याप्त परिपक्व होती है.

इस बीच, गठवाल खाप ने प्रमुख बाबा श्याम सिंह ने कहा कि न्यूनतम उम्र बढ़ाने के फैसले का परिणाम महिलाओं के प्रति अपराध में वृद्धि के रूप में हो सकता है.

मुख्यमंत्री सामूहिक विवाह समारोह में ‘बहन से शादी रचाने वाले युवक’ के खिलाफ मुकदमा

    follow whatsapp