Uttar Pradesh News: उत्तर प्रदेश पुलिस में सोमवार देर रात तीन नई कमिश्नरेट में पुलिस कमिश्नर की तैनाती के साथ 16 आईपीएस अफसरों के तबादले कर दिए गए. मगर इस तबादला सूची में कई नाम और कई पोस्टिंग ऐसी हैं, जो चर्चा का विषय बन गई हैं.
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उत्तर प्रदेश शासन ने सोमवार देर रात प्रयागराज, आगरा और गाजियाबाद में पहले पुलिस कमिश्नर की तैनाती कर दी. इस तबादला सूची में नई 3 पुलिस कमिश्नरेट के साथ-साथ गौतमबुद्ध नगर और वाराणसी के भी पुलिस कमिश्नर बदले गए हैं. पुलिस कमिश्नरी लागू होने के बाद से जमे नोएडा के पुलिस कमिश्नर आलोक सिंह को हटा दिया गया है. एडीजी आलोक सिंह को अब डीजीपी मुख्यालय से संबद्ध किया गया है, आलोक सिंह की जगह लखनऊ रेंज की आईजी लक्ष्मी सिंह को नोएडा का पुलिस कमिश्नर बनाया गया है.
वहीं, दूसरी तरफ वाराणसी के पहले पुलिस कमिश्नर सतीश गणेश को भी हटा दिया गया है. उनकी जगह केंद्रीय प्रतिनियुक्ति से लौटे एडीजी अशोक मुथा जैन वाराणसी के नए पुलिस कमिश्नर बनाए गए हैं. आगरा में आईजी रैंक के डॉक्टर प्रीतिंदर सिंह को पुलिस कमिश्नर बनाया गया है. गाजियाबाद में केंद्रीय प्रतिनियुक्ति से लौटे आईजी अजय कुमार मिश्रा को पुलिस कमिश्नर बनाया गया है. वहीं बरेली के आईजी रमित शर्मा को प्रयागराज का पुलिस कमिश्नर बनाया गया है.
बता दें कि रमित शर्मा की जगह प्रयागराज रेंज के आईजी राकेश सिंह को बरेली रेंज भेजा गया है. लक्ष्मी सिंह की जगह उत्तर प्रदेश शासन में सचिव गृह रहे तरुण गाबा को लखनऊ रेंज का नया आईजी बनाया गया है. इसके साथ ही आगरा में पुलिस कमिश्नरी लागू होते ही प्रभाकर चौधरी को पीएसी सीतापुर में सेनानायक बनाया गया है. प्रभाकर चौधरी जल्द केंद्रीय प्रतिनियुक्ति के लिए रिलीव हो सकते हैं.
इस तबादला सूची से तय हो गया है कि पुलिस कमिश्नरी में एडीजी रैंक का अधिकारी ही पुलिस कमिश्नर नहीं बनेगा, बल्कि आईजी रैंक के अफसरों की भी तैनाती होगी. यूपी में अब कुल 7 जिलों में पुलिस कमिश्नरी लागू है, जिनमें नोएडा आगरा प्रयागराज और गाजियाबाद में आईजी रैंक के अफसरों को पुलिस कमिश्नर बनाया गया है, सिर्फ वाराणसी लखनऊ और कानपुर में एडीजी रैंक के अधिकारी पुलिस कमिश्नर हैं.
आईपीएस अफसरों की तबादला सूची में जिन दो नामों को लेकर सबसे ज्यादा चर्चा है, उनमें नोएडा के पुलिस कमिश्नर आलोक सिंह और लखनऊ रेंज के आईजी लक्ष्मी सिंह शामिल का नाम शामिल है. आलोक सिंह पुलिस कमिश्नरी लागू होने के बाद से नोएडा में जमे थे. अपनी कार्यशैली के चलते आईपीएस लॉबी में आलोक सिंह एक ताकतवर अफसर, शासन सत्ता के करीबी माने जाते रहे हैं.
आगमी जनवरी महीने में आलोक सिंह को नोएडा में 3 साल हो जाते, लिहाजा उनका हटना तो तय था, लेकिन आलोक सिंह को नोएडा से हटाकर डीजीपी मुख्यालय में अटैच कर उन्हें ‘शंट’ किया गया है. डीजीपी मुख्यालय से संबद्धता अफसर के नंबर घटने का इशारा करती है.
वहीं, दूसरी तरफ लखनऊ में आईजी रेंज रहीं लक्ष्मी सिंह नोएडा की नई पुलिस कमिश्नर बनाई गई हैं. लक्ष्मी सिंह बेहद तेजतर्रार आईपीएस अफसर मानी जाती हैं. लखीमपुर हिंसा की घटना हो या फिर दो बहनों के रेप के बाद पेड़ से लटकाने की वारदात, ऐसी तमाम घटनाओं में लक्ष्मी सिंह ने ना सिर्फ घटना के खुलासे को पकड़ने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई, बल्कि कानून व्यवस्था को बनाए रखने में भी लक्ष्मी सिंह आगे रहीं. आईपीएस लॉबी में लक्ष्मी सिंह को ‘सिंघम आईपीएस’ भी कहा जाता रहा है.
लक्ष्मी सिंह के पति राजेश्वर सिंह ED के Joint Director रहे. वर्तमान में वह लखनऊ की सरोजिनी नगर सीट से बीजेपी विधायक हैं. लक्ष्मी सिंह अपराध और अपराधियों पर नियंत्रण के लिए जीरो टॉलरेंस की नीति अपनाने वाली सख्त अफसरों में गिनी जाती हैं.
ऐसा माना जा रहा है कि गौतमबुद्ध नगर जिले में लक्ष्मी सिंह की तैनाती से अपराध और अपराधियों पर तो शिकंजा कसेगा ही, साथ ही पुलिस के भ्रष्टाचार पर भी लगाम लगेगी. वहीं पड़ोसी जिले में अजय कुमार मिश्रा की तैनाती भी एनसीआर में क्राइम कंट्रोल के लिए एक बड़ा फैसला है. हाल ही में भारत सरकार से लौटे अजय मिश्रा यूपी कैडर के तेजतर्रार अफसरों में शुमार किए जाते रहे हैं. सुल्तानपुर, प्रतापगढ़, वाराणसी में कप्तानी के दौरान अजय मिश्रा के अपराधियों के खिलाफ छेड़े अभियान आज भी चर्चा का विषय है.
फिलहाल इन 16 आईपीएस अफसरों की तबादला सूची मे ADG रैंक के दो अफसर, आलोक सिंह और सतीश गणेश डीजीपी मुख्यालय से संबद्ध कर दिए गए हैं. माना जा रहा है कि अभी आईपीएस अफसरों की एक और तबादला सूची आनी बाकी है, जिसमें कई बड़े अफसरों की कुर्सियां जाएंगी!
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