Uttar Pradesh News : लोकसभा चुनाव की तारीखों का एलान होते ही उत्तर प्रदेश सभी राजनीतिक दल अलर्ट मोड में आ गए हैं. इस चुनाव में NDA और I.N.D.I.A अलायंस के बीच मुकाबला होने जा रहा है.इसी बीच रविवार को विपक्षी गठबंधन को एक झटका लगा है. अपना दल कमेरावादी पार्टी ने भी गठबंधन का साथ छोड़ दिया है. पल्लवी पटेल की पार्टी का ओवैसी के दल एआईएमआईएम से गठबंधन हो गया है. इस नए गठबंधन का नाम पीडीएम न्याय मोर्चा रखा गया है. पीडीएम - यानी पिछ़ड़ा, दलित और मुस्लमान न्याय मोर्चा.
ADVERTISEMENT
PDA का जवाब PDM से
अपना दल (कमेरावादी) की नेता और समाजवादी पार्टी से विधायक पल्लवी पटेल अब ‘पीडीएम’ (पिछड़ा, दलित, मुस्लिम) के जरिए लोकसभा चुनाव में उतर चुकी हैं. यही वजह है कि उन्होंने ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन यानी AIMIM के चीफ असदुद्दीन ओवैसी से हाथ मिलाया है. राजधानी लखनऊ में पीडीएम न्याय मोर्चा का एलान करते हुए पल्लवी पटेल ने कहा कि, 'पिछड़ा दलित मुस्लिम समाज के प्रति सरकार का जो रवैया है और विपक्ष में बैठे लोग चुप बैठे हैं. सरकार के खिलाफ, मुख्य विपक्ष के खिलाफ PDM न्याय मोर्चा लेकर आए हैं. PDM वो समाज है जो सरकारें बनाता और गिराता है.'
यूपी में बन गया नया मोर्चा
नए मोर्चे के एलान के साथ ही पल्लवी पटेल ने अखिलेश यादव के 'पिछड़ा, दलित और अल्पसंख्यक' अभियान का जवाब 'पिछड़ा, दलित और मुस्लिम' को एक मंच पर लाकर दिया है. बता दें कि 2024 का लोकसभा चुनाव पल्लवी पटेल समाजवादी पार्टी के साथ ही मिलकर लड़ना चाहती थीं. वह फूलपुर, मिर्जापुर और कौशांबी जैसी सीटों की उम्मीद कर रही थीं, लेकिन फरवरी महीने में ही दोनों दलों के बीच मतभेद देखे गए थे, जब पल्लवी पटेल ने राज्यसभा चुनाव में सपा उम्मीदवार के पक्ष में मतदान से यह कहते हुए इनकार कर दिया था कि अखिलेश यादव ने अपने पीडीए (पिछड़ा, दलित, अल्पसंख्यक) फॉर्मूले को नजरअंदाज किया है.
ADVERTISEMENT