Indian Railways News: अगर आप ट्रेन से यात्रा करने जा रहे हैं तो आपके लिए ये खबर बेहद जरूरी है. ठंड में यात्रा करते समय आपको कोहरे की वजह से ट्रेन के लेट लतीफी का डर सताता है. लेकिन इस बार उत्तर मध्य रेलवे ने कोहरे से निपटने के लिए खास इंतजाम किया है, ताकि कोहरे की मार की वजह से ट्रेन की स्पीड पर असर ना पड़े. रेलवे ने 900 से अधिक ट्रेनों में कई खास तरीके का इंतजाम किया है.
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इस बार उत्तर मध्य रेलवे ने कोहरे की वजह से ट्रेनें कम लेट हो इसके लिए एनसीआर से गुजरने वाली 978 ट्रेनों को फाग सेफ डिवाइस से लैस कर दिया गया है. यह डिवाइस जीपीएस आधारित जापानी तकनीक है.
इससे लोको पायलट को सिग्नल और ट्रैक के क्लीयरिंग के संकेत 1500 मीटर पहले से ही मिलने लगेंगे. यही वजह है की इस बार कोहरे की वजह से ट्रेनों की स्पीड पर असर कम पड़ेगा. आप को बता दे अक्सर ठंड में कोहरे की वजह से सिग्नल नहीं दिखने पर ट्रेनों को जगह जगह ट्रेन के ड्राइवर को रोकना पड़ता था. लेकिन इस डिवाइस के लग जाने से यात्री को ट्रेन देरी से चलने से बचने के साथ लोको पायलट को भी काफी सहायता मिलेगी.
डिवाइस में हरी और पीली लाइट जलेगी, पीली लाइट आउटर सिग्नल क्लीयर होने का संकेत देगी और ट्रेन की गति को मेन सिग्नल तक धीमा रखा जाएगा. हरी लाइट मेन सिग्नल के क्लीयर होने के संकेत है. यानी बिना गति धीमी किए ट्रेन आगे जाएगी. डिवाइस में रेल रूट की फीडिंग है. इससे स्क्रीन पर लोको पायलट को सिग्नल की सही जानकारी मिलती है.
लोको पायलट ट्रेन की गति को समय रहते नियंत्रित करते हैं. इसके अलावा ट्रैक पेट्रोलिंग टीम भी हल्के उपकरण के साथ जीपीएस से लैस होंगे जो रेल फ्रैक्चर से बचाव और समय पर इसकी पहचान कर तत्काल सूचना का आदान प्रदान व सुरक्षित संचालन सुनिश्चित करेंगे. सीपीआरओ हिमांशु शेखर उपाध्याय ने बताया कि एनसीआर के मुताबिक सभी ट्रेनों में लोको पायलट को फाग सेफ डिवाइस दिया जा रहा है. यह कोहरे में भी सिग्नल की जानकारी देता है, इससे ट्रेनों का सुरक्षित संचालन होगा.
कितनी ट्रेनों में डिवाइस
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850 ट्रेन – प्रयागराज मंडल
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558 ट्रेन – झांसी मंडल
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376 ट्रेन – आगरा मंडल
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