यूपी की नई सरकार के शपथ ग्रहण से पहले समाजवादी पार्टी (एसपी) के अध्यक्ष और पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने आपराधिक घटनाओं के मुद्दे को लेकर बीजेपी पर जमकर हमला बोला है.
ADVERTISEMENT
उन्होंने कहा है, “बीजेपी के संरक्षण में अपराधियों ने बिना खौफ अपनी अवांछनीय गतिविधियां शुरू कर दी हैं. बीजेपी राज में पहले भी भय और भ्रष्टाचार का बोलबाला था. अब तो दोबारा सत्ता में आने से असामाजिक तत्वों को अहंकारी नेतृत्व का भी साथ मिल गया है.”
एसपी के मुख्य प्रवक्ता राजेंद्र चौधरी की तरफ से जारी बयान के मुताबिक, अखिलेश ने कहा, “बीजेपी सरकार की वापसी पर दुद्धी सोनभद्र में होली पर बुल्डोजर पर हुड़दंगियों ने बारात निकाली. पुलिस मूकदर्शक बनी रही. राज्य में दोबारा छल-बल से आई बीजेपी सरकार से जनता की उम्मीदों पर पानी फिरा है और चारों ओर निराशा का कोहराम है. अभी तो शपथ भी नहीं हुई है. आम आदमी का जीना मुश्किल हो गया है.”
एसपी चीफ ने कहा, “गाजियाबाद में होली के दिन घर में घुस कर साहिबाबाद थाना क्षेत्र में 11वीं की छात्रा से गैंगरेप की विचलित करने वाली घटना प्रकाश में आई है. छात्रा जब थाने में शिकायत दर्ज कराने गई तो उसकी कोई सुनवाई नहीं हुई. यही नहीं, उसके साथ अभद्रता भी की गई.”
उन्होंने कहा, “बीजेपी के झूठे वादों से परेशान होकर बुन्देलखंड के किसान और युवा आत्महत्या को मजबूर हैं. 71 दिनों में 76 लोगों ने खुदकुशी की है. न युवाओं को रोजगार, न ही किसानों को उनकी उपज का दाम मिलने की उम्मीद है. खुदकुशी करने वालों में छात्र, नौजवान, बेरोजगार, किसान, महिलाएं और अन्य कई वर्गों के लोग हैं. किसान और नौजवान की तो बद से बदतर स्थिति है. पीड़ित परिवारों की मदद भी नहीं की जा रही है. बीजेपी सरकार पूर्णतया असंवेदनशील है.”
अखिलेश ने कहा, “आगरा के पत्रकार गौरव अग्रवाल की निष्पक्ष पत्रकारिता और जनहित में उठाई गई आवाज को बीजेपी सरकार शारीरिक प्रताड़ना से दबाना चाहती है, यह निंदनीय है. पत्रकारों का उत्पीड़न कर लोकतंत्र को कुचला जा रहा है. पत्रकारों को न्याय मिलना चाहिए. लोकतंत्र के चौथे स्तंभ को लगातार कमजोर किया जा रहा है. उसे ‘थोथे स्तम्भ‘ में बदलने की साजिश है.”
उन्होंने बीजेपी पर हमला बोलते हुए कहा है, “बीजेपी शासन में पुलिस की अवैध वसूली ने गरीब की जान ले ली. लखीमपुर खीरी में पुलिस के द्वारा अवैध वसूली से परेशान होकर गौरीफंटा कोतवाली में आत्मदाह करने वाले टैक्सी चालक शुभम गुप्ता की उपचार के दौरान मृत्यु अत्यंत दुःखद है. पीड़ित परिवार को न्याय दिया जाए और दोषी पुलिस कर्मियों की बर्खास्तगी होनी चाहिए.”
विधान परिषद चुनाव: SP ने जारी की 36 प्रत्याशियों की लिस्ट, देखें किसे कहां से मिला टिकट
ADVERTISEMENT