भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने 10 फरवरी को बिसवां में एक जनसभा को संबोधित किया. नड्डा ने कहा, ”मैं चुनाव में ये कहता हूं कि कभी भी क्या मैं करूंगा, इसके आधार पर किसी को मत तय करो, कभी भी क्या कोई करने वाला है इस आधार पर किसी को तय मत करो. हमेशा इस बात पर तय करो कि पीछे उस व्यक्ति और उस पार्टी ने क्या किया है. वही तय करेगा कि आगे वो क्या करने वाला है.”
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बीजेपी चीफ ने कहा, ”राष्ट्रवाद के साथ जुड़ी हुई पार्टी, विकासवाद के साथ जुड़ी हुई पार्टी, विचारों के साथ जुड़ी हुई पार्टी भाजपा है. अब राष्ट्रीय पार्टी भी अकेली भारतीय जनता पार्टी रह गई है, बाकी सारी पार्टियां वंशवाद, परिवारवाद, क्षेत्रवाद की पार्टियां रह गई हैं.”
इसके अलावा उन्होंने कहा, ”ये केवल भाजपा है जिसका मंत्र है सबका साथ, सबका विकास, सबका विश्वास और सबका प्रयास. हमारा संकल्प पत्र आपने देखा होगा, वह लोक कल्याण का संकल्प पत्र है. हर चीज के लिए लोक कल्याण नीतियों को बढ़ाते हुए, इस संकल्प पत्र में उत्तर प्रदेश को सबसे प्रथम दर्जे का राज्य बनाने का संकल्प है.”
समाजवादी पार्टी प्रमुख अखिलेश यादव की अगुवाई वाली यूपी की पिछली सरकार को लेकर उन्होंने कहा, ”अखिलेश सरकार के पांच वर्ष में उत्तर प्रदेश में 200 दंगे हुए. पिछले पांच वर्ष में यूपी में योगी जी की सरकार में एक भी दंगा नहीं हुआ. भाजपा सरकार में उत्तर प्रदेश दंगा मुक्त रहा है.”
नड्डा ने कहा,
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”हम यूपी को दंगा मुक्त, गुंडा मुक्त, माफिया मुक्त, आतंकवादियों को संरक्षण देने वालों से भी मुक्त रखेंगे.”
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”मुजफ्फरनगर के दंगों के विषय में सुप्रीम कोर्ट ने कहा था कि इन दंगों के लिए अखिलेश सरकार दोषी है, अखिलेश सरकार भेदभावपूर्ण रवैये से काम कर रही है.”
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”सुप्रीम कोर्ट ने कहा था कि प्रशासन फेल हो गया है. इन दंगों में 43 लोगों की जान गई.”
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”मुजफ्फरनगर दंगों के एक मुख्य अभियुक्त मौलाना नाजिर को स्पेशल प्लेन से लखनऊ बुलाकर अखिलेश ने उसकी मेहमाननवाजी की थी. ये है इनका तुष्टिकरण, भेदभाव और नजरिया.”
इसके अलावा नड्डा ने कहा, ”आज एक नेता जिसको वोट डालना था, मतदान का प्रयोग करना था उसने अपने मतदान का प्रयोग ही नहीं किया. ये परिवारवाद की ठसक है, घमंड है. ऐसे लोगों को प्रजातंत्र की हनक जवाब देती है.” नड्डा के इस बयान को राष्ट्रीय लोक दल प्रमुख जयंत चौधरी पर निशाने के तौर पर देखा जा रहा है.
न्यूज एजेंसी एएनआई के मुताबिक, जयंत ने 10 फरवरी की सुबह कहा था, ”मैं मथुरा का वोटर हूं. अभी, हम बिजनौर में हैं क्योंकि यूपी विधानसभा चुनाव के पहले और दूसरे राउंड के बीच प्रचार के लिए सिर्फ 2 दिन का समय है. मेरी पत्नी ने सुबह ही मतदान किया. यहां चुनाव प्रचार खत्म होने के बाद शाम छह बजे तक खुले बूथों पर वोट डालने की कोशिश करूंगा.”
बता दें कि आज यानी 10 फरवरी को यूपी विधानसभा चुनाव 2022 के पहले फेज में 11 जिलों की 58 विधानसभा सीटों के लिए मतदान जारी है.
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