मुख्तार अंसारी को जब सुपुर्द-ए-खाक किया गया, तब कौन-कौन कब्रिस्तान में रहा मौजूद?
माफिया से नेता बने पूर्व विधायक मुख्तार अंसारी का शव कड़ी सुरक्षा के बीच शनिवार को गाजीपुर जिले के उनके पैतृक निवास युसूफपुर मोहम्मदाबाद के निकट कालीबाग स्थित कब्रिस्तान में सुपुर्द-ए-खाक किया गया.
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Mukhtar Ansari News: माफिया से नेता बने पूर्व विधायक मुख्तार अंसारी का शव कड़ी सुरक्षा के बीच शनिवार को गाजीपुर जिले के उनके पैतृक निवास युसूफपुर मोहम्मदाबाद के निकट कालीबाग स्थित कब्रिस्तान में सुपुर्द-ए-खाक किया गया. पारिवारिक सूत्रों ने बताया कि इससे पहले मुख्तार के पैतृक आवास से सुबह के समय जनाजा निकाला गया जिसमें उनके सांसद भाई अफजाल अंसारी, पुत्र उमर अंसारी और भतीजे विधायक सुहेब अंसारी समेत परिवार के सदस्य तथा समर्थक शामिल रहे. उनके बड़े भाई एवं पूर्व विधायक सिगबतुल्लाह अंसारी समेत परिवार और रिश्तेदार भी जनाजे में शामिल हुए.
इस दौरान भीड़ ने नारे भी लगाए. अफजाल अंसारी ने कब्रिस्तान पहुंचकर लोगों को समझाया कि भीड़ एकत्र न करें और शांति बनाये रखने की अपील की. बाद में सिगबतुल्लाह भी वहां पहुंचे. जनाजे की नमाजों के बाद कालीबाग कब्रिस्तान में अंसारी का शव दफनाया गया. सबसे पहले, मुख्तार के पैतृक आवास के निकट मैदान में भी नमाज पढ़ी गई. बाद में भी नमाज अदा की गई.
गौरतलब है कि मुख्तार अंसारी को गुरुवार को तबीयत बिगड़ने के बाद बांदा जिला जेल से रानी दुर्गावती मेडिकल कॉलेज ले जाया गया था, जहां दिल का दौरा पड़ने से उसकी मौत हो गई थी. मुख्तार के परिजनों ने अंसारी को जेल में धीमा जहर देने का आरोप लगाया था. हालांकि, अस्पताल के सूत्रों के अनुसार अंसारी के पोस्टमॉर्टम से इस बात की पुष्टि हुई है कि उसकी मौत दिल का दौरा पड़ने से हुई.
बांदा मेडिकल कालेज में शुक्रवार को अंसारी के शव का पोस्टमॉर्टम कराए जाने के बाद शाम पौने पांच बजे 26 वाहनों के सुरक्षा काफिले के साथ उसका शव करीब साढ़े आठ घंटे में लगभग 400 किलोमीटर की दूरी तय करने के बाद देर रात एक बजकर 10 मिनट पर उसके पैतृक आवास पर लाया गया. भारी सुरक्षा व्यवस्था के बीच अंसारी के आवास पर काफी भीड़ जमा हो गई.
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