यूपी में चार चरणों के विधानसभा चुनाव समाप्त हो चुके हैं. 231 सीटों पर अबतक वोटिंग हो चुकी है. अखिलेश यादव और योगी आदित्यनाथ, दोनों का ही दावा है कि उन्होंने इन चारों चरणों में स्वीप किया है. हालांकि इन दावों की परख 10 मार्च को काउंटिंग के दिन होनी है. पांचवें चरण के चुनाव में अयोध्या से लेकर प्रयागराज तक की 61 विधानसभा सीटों पर 27 फरवरी को वोटिंग होनी है.
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ऐसे में इसके साथ-साथ आगे के चरणों को भी जोड़ लें तो पूरा मामला अब अवध और पू्र्वांचल की राजनीति का है. यूपी तक ने यूपी चुनावों पर आधारित अपने खास कार्यक्रम कौन जीत रहा है यूपी? में एक्सपर्ट से यह जानना चाहा कि आखिर अब यूपी चुनाव किस दिशा में बढ़ रहा है.
डिबेट में शामिल वरिष्ठ पत्रकार विनोद अग्निहोत्री ने कहा कि, ‘आधा यूपी चुनाव हो चुका है. अब आगे चुनाव पूर्वांचल में बढ़ रहा है.’ उन्होंने कहा, ‘2017 में बीजेपी ने खूबसूरती से एक गुलदस्ता बनाया था, जिसमें गैर यादव ओबीसी नेताओं को साथ लाए थे. BJP के लिए अनुप्रिया पटेल, राजभर जैसे नेताओं की वजह से जातिगत समीकरण मजबूत रहा. हालांकि पूर्वांचल में जंग मुख्यतया हमेशा एसपी और बीएसपी के बीच होती थी. 2017 में बीजेपी ने बड़ी मजबूती से पांव जमाए. इस बार अखिलेश ने इसी दांव से बीजेपी को घेरा. महान दल को ले लिया, कृष्णा पटेल को ले लिया. राजभर को ले लिया. निषाद समुदाय फूलन देवी के समय से ही एसपी से कुछ न कुछ जुड़ा रहता है.’
विनोद अग्निहोत्री कहते हैं, ‘बहुजन समाज पार्टी पहले जैसा प्रदर्शन करती नजर नहीं आ रही है. पश्चिम, मध्य, बुंदेलखंड में ऐसा प्रदर्शन करते नहीं दिखी है.’
वहीं वरिष्ठ पत्रकार प्रमोद गोस्वामी कहते हैं, ‘पूर्वी यूपी में जातिगत समीकरण समाजवादी पार्टी के साथ जुड़े नजर आ रहे हैं. इसका लाभ आने वाले समय में मिल सकता है. मुस्लिम वोट भी इस बार बड़ी संख्या में समाजवादी पार्टी के साथ जाता नजर आ रहा है. पूर्वी यूपी में ब्राह्मण मतदाता भी अहम है. ऐसा परसेप्शन बन रहा है कि ब्राह्मण बीजेपी के इस रिजीम से संतुष्ट नहीं है बल्कि नाराज है.’
इस पूरी डिबेट को ऊपर शेयर किए गए वीडियो पर क्लिक कर देखा और सुना जा सकता है.
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