बहुजन समाज पार्टी (बीएसपी) की चीफ मायावती ने पश्चिमी यूपी के फायर ब्रांड नेता इमरान मसूद को पार्टी से निष्कासित कर दिया है. बीएसपी की तरफ से जारी प्रेस रिलीज में कहा गया है कि इमरान मसूद को अनुशासनहीनता और पार्टी विरोधी गतिविधियों के कारण निष्कासित किया गया है. बीएसपी से निकाले जाने के बाद इमरान मसूद ने यूपीतक से खास बातचीत में पार्टी विरोधी गतिविधियों के आरोपों समेत कई सवालों के बेबाकी से जवाब दिए हैं. साथ ही उन्होंने बसपा पर 5 करोड़ रुपये की रसीद कटवाने का भी आरोप लगाया.
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बता दें कि यूपीतक के इंटरव्यू के 72 घंटे बाद इमरान मसूद को बीएसपी से निकाल दिया गया है. उन्होंने यूपीतक से कहा था कि ‘मैं बसपा के लिए एसेट हूं, मैं बोझ नहीं हूं.’ 72 घंटे के अंदर ही क्या इमरान मसूद के इस बयान की वजह उन्हें पार्टी से बाहर का रास्ता दिखा दिया गया? इस सवाल पर इमरान ने कहा,
“बहन जी ने मुझे आशीर्वाद दिया और बड़ी बहन की तरह दुआएं दीं. मैंने बहन जी के खिलाफ एक भी शब्द न बोला था और न बोलूंगा. मैं इस बात को बहुत दावे के साथ कहता हूं कि मैं लायबिलिटी नहीं है, मैं जहां भी रहा हूं वहां एसेट रहा हूं. मैं जिस पार्टी में रहा हूं, उसे हमेशा मजबूत करने का काम किया है.”
क्या आप 2024 के लोकसभा चुनाव में इंडिया गठबंधन के साथ जाना चाहेंगे? इसके जवाब में इमरान मसूद ने कहा कि जो लड़ाई देश में होनी है वो NDA Vs I.N.D.I.A होनी है. मैंने यही बात कही थी कि अगर आप (मायावती) इंडिया गठबंधन में नहीं रहोगे तो हो सकता है जीरो पर ऑउट हो जाओ. ये तो बिल्कुल सच्चाई है.
पार्टी से निकाले जाने के बाद क्या आपने मायावती से बात करने की कोशिश की? इसपर इमरान मसूद ने कहा, “बहन जी बड़ी नेता हैं, उनसे क्या ही कोशिश करनी है. बस यह है कि बहन जी का धन्यवाद है.”
इमरान मसूद ने कहा,
“मुझे नहीं पता कि क्यों पार्टी से बाहर निकाला गया. मैं पार्टी के ग्राफ को ऊपर लेकर गया. अगर ऊपर ले जाना गुनाह है तो मैंने गुनाह कर दिया. पार्टी के ग्राफ को ऊपर ही लेकर गया था. सबको पता है कि सहारनपुर में अगर इमरान बसपा से चुनाव लड़ता तो एक तरफा जीतता. अगर एक तरफा जीत पार्टी के अंदर हजम नहीं हो रही है तो मैं क्या कर सकता हूं.”
5 करोड़ की रसीद कटवाने का लगाया आरोप
आपको बीएसपी की तरफ से सदस्य बनाने के लिए कुछ किताबें दी गई थीं, लेकिन आप सफल नहीं हो पाए, वो क्या मामला है? इस सवाल के जवाब में इमरान मसूद ने कहा कि ‘मैं खेती-किसानी वाला आदमी हूं, मैं उद्योगपति नहीं हूं और मेरे पास पैसा नहीं है, लोग मुझे चंदा देते हैं तब मैं चुनाव लड़ पाता हूं. सहारनपुर में 5 करोड़ रुपये की रसीद बुक काटकर मैं नहीं दे सकता हूं.”
बार-बार कांग्रेस नेता राहुल गांधी की तारीफ करने की वजह से तो नहीं आपको मायावती ने पार्टी से निकाला है?, तो इसके जवाब में इमरान ने कहा, “राहुल जी के साथ काम करने का अच्छा अनुभव रहा है. राहुल जी बहुत अच्छे आदमी हैं, मैं उन्हें खराब कैसे कह दूं? आज तो देश का हर नौजवान राहुल गांधी की तारीफ कर रहा है. मैं तो अकेला तारीफ नहीं कर रहा हूं.”
अब क्या करेंगे इमरान मसूद?
अब अपने अगले कदम को लेकर पूछे गए सवाल के जवाब में इमरान ने कहा कि यह मेरे साथी निर्णय करेंगे. जो मैं चुनाव जीता था वो निर्दलीय जीता था.
मायावती को लेकर इमरान ने कहा,
“अगर बहन जी आने वाले लोकसभा चुनाव में गठबंधन नहीं करेंगी तो जीरो पर ऑउट होंगी. बहन जी के इर्द-गिर्द लोग उन्हें बहुत मिसगाइड करते हैं.”
क्या इमरान मसूद कांग्रेस में जाएंगे? इस सवाल के जवाब में उन्होंने कहा कि अभी मेरी कोई किसी से बात नहीं हुई है. साथियों से बातचीत करने के बाद कोई निर्णय लेंगे.
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