UPPCS Result Divya Sikarwar Topper: उत्तर प्रदेश के आगरा में फौजी राजपाल सिकरवार के घर शुक्रवार को अचानक से खुशियों का अंबार लग गया. दरअसल, राजपाल सिकरवार की बेटी दिव्या सिकरवार ने यूपीपीसीएस की परीक्षा में टॉप किया है. राजपाल ने सपने में भी नहीं सोचा था कि उनकी आंखों के सामने पैदा हुई बच्ची एक दिन स्कूल और कॉलेज की पढ़ाई पूरी करने के बाद उत्तर प्रदेश की सबसे कठिन परीक्षा में शीर्ष स्थान पर जाकर खड़ी हो जाएगी. हां इतना जरूर है कि राजपाल को दिव्या पर अबकी बार यह भरोसा था कि यूपीपीसीएस की परीक्षा में वह बाजी मार लेगी. दिव्या सिकरवार उत्तर प्रदेश टॉप करने के बाद बेहद खुश हैं और इस खुशी में वह अकेली नहीं हैं बल्कि उनके साथ उनके माता-पिता, भाई, रिश्तेदार, नातेदार, गांव के लोग शामिल हैं.
ADVERTISEMENT
माता-पिता ने की दिव्या की खूब तारीफ
दिव्या के बारे में बात करते हुए पिता राजपाल ने उनकी खूब तारीफ की. उन्होंने कहा, “दिव्य ने बहुत मेहनत की है. वह कहीं नहीं जाती थी. दो साल घर के एक कमरे में ही बंद रही और सिर्फ पढ़ती रही.” दिव्या की मां ने बताया, “पढ़ाई के सामने उसे खाने तक का होश नहीं रहता था. खाना लगा देते थे लेकिन वह पढ़ती रहती थी खाना नहीं खाती थी.”
आपको बता दें कि दिव्या ने गांव के पास के ही एक इंटर कॉलेज से इंटर तक की परीक्षा श्रेष्ठता के साथ पास की है. दिव्या का पढ़ाई का माध्यम हिंदी था. इंटरमीडिएट पास करने के बाद वह आगरा के सेंट जॉन्स डिग्री कॉलेज में स्नातक और परास्नातक तक पढ़ीं. अपने स्नातक और परास्नातक की पढ़ाई के दौरान दिव्या ने अंग्रेजी भाषा को दुरुस्त कर लिया. यहीं से यूपीपीसीएस की परीक्षा को पास करने की बात मन में शिद्दत के साथ बैठा ली. इसके बाद दिव्या की दुनिया सिमटकर सिर्फ घर और किताबों तक रह गई.
पहले प्रयास में दिव्या हुई थीं असफल
मिली जानकारी के अनुसार, दिव्या पहली और दूसरी बार में तो यूपीपीसीएस की परीक्षा पास नहीं कर सकीं, लेकिन तीसरी बार में आगरा से करीब 20 किलोमीटर दूर गांव गढ़ी रामी की इस छोरी ने कमाल कर दिखाया. कमाल भी ऐसा कि जिसने सुना वही हतप्रभ रह गया. घर में बधाई देने वालों का देर रात तक तांता लगा हुआ था. दिव्या के पिता लोगों को मिठाई खिलाकर अपनी खुशी का इजहार कर रहे थे. बता दें कि दिव्या के एक भाई उत्तर प्रदेश पुलिस में अपनी सेवाएं दे रहे हैं और दूसरे भाई कपिल सिकरवार ने साफ कर दिया है कि वह गांव में अपने माता पिता को अकेले छोड़कर कहीं नहीं जाएगा. माता पिता के साथ रहेगा उनकी देखभाल करेगा और जीवन यापन के लिए पैतृक खेती-बाड़ी करेगा.
ADVERTISEMENT