Baba Siddique Murder Case : महाराष्ट्र के बड़े नेता बाबा सिद्दीकी की हत्या के मामले में तीसरे शूटर को भी बहराइच से गिरफ्तार कर लिया गया है. कथित तौर पर लॉरेंस बिश्नोई गैंग के शूटर शिवकुमार को एसटीएफ उत्तर प्रदेश और मुंबई क्राइम ब्रांच की जॉइंट टीम ने बहराइच के नानपारा से गिरफ्तार किया है. शिवकुमार नेपाल भागने की फिराक में था. शिवकुमार को शरण देने और नेपाल भागने मे मदद करने के आरोप में अनुराग कश्यप, ज्ञान प्रकाश त्रिपाठी, आकाश श्रीवास्तव और अखिलेंद्र प्रताप सिंह को भी गिरफ्तार किया गया है. आपको बता दें कि 12 अक्टूबर को मुंबई में पूर्व मंत्री और फिल्म अभिनेता सलमान खान के करीबी जियाउद्दीन अब्दुल रहीम सिद्दीकी उर्फ बाबा सिद्दीकी की हत्या कर दी गई थी. हत्याकांड शामिल दो शूटर धर्मराज कश्यप और गुरमेल सिंह को उसी समय गिरफ्तार कर लिया गया था. शुरुआती जांच में ही यह तथ्य सामने आ गए थे कि बाबा सिद्दीकी की हत्या जेल में बन्द कुख्यात अपराधी लारेन्स विश्नोई के इशारो पर की गई थी.
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25 दिनों तक चला ऑपरेशन फिर अरेस्ट हुआ तीसरा शूटर
आपको बता दें कि इस हत्याकांड के बाद मुंबई पुलिस ने यूपी एसटीएफ को पत्र लिख तीसरे शूटर सहित अन्य फरार आरोपियों को पकड़ने में मदद मांगी थी. मुंबई क्राइम ब्रांच की टीम 25 दिनों से आरोपियों को ट्रैक कर रही थी. मुंबई क्राइम ब्रांच और यूपी एसटीएफ के 21 अधिकारियों और जवानों की टीम को ये कामयाबी हाथ लगी है. एसटीफ और मुंबई क्राइम ब्रांच को इनपुट मिला था कि शूटर शिव कुमार अपने साथियों के साथ बहराइच के नानपारा थाना क्षेत्र में कहीं छिपा हुआ है. वह नेपाल भागने की फिराक में है. शिव कुमार के कुछ साथी उसे नेपाल में सुरक्षित जगह पर पहुंचाने वाले हैं. इस इनपुट पर एसटीएफ और मुंबई क्राईम ब्रांच की जॉइंट टीन ने ऑपरेशन चलाया.
अरेस्ट शूटर शिवकुमार ने खोले ये सारे राज
अरेस्ट शूटर शिव कुमार ने पूछताछ में बताया है कि वह और धर्मराज कश्यप एक ही गांव के रहने वाले है. दोनों पूणे में स्क्रैप का काम करते थे. वहीं पास में स्क्रैप की दुकान चलाने वाला शुभम लोनकर लारेन्स विश्नोई के लिए काम करता था. शुभम ने शिवकुमार की बात स्नैप चैट के माध्यम से लारेन्स विश्नोई के भाई अनमोल विश्नोई से कई बार कराई. बाबा सिद्दीकी की हत्या के एवज में दस लाख रूपये और और हर महीने पैसे मिलने की बात कही गई थी. हत्या के लिए हथियार,सिम और मोबाइल फोन शुभम लोनकर और मोहम्मद यासीन अख्तर ने दिया था. ये सारे कई दिनों से मुंबई में बाबा सिद्दीकी की रैकी कर रहे थे. 12 अक्टूबर की रात में सही समय मिलने पर बाबा सिद्दीकी की हत्या कर दी गई. उस दिन त्यौहार होने के कारण भीड़-भाड़ भी थी. दो शूटर वहीं पकड़ लिए गए, लेकिन शिवकुमार भाग गया. शिवकुमार ने फोन रास्ते में फेंक दिया था और मुम्बई से पूणे चला गया था. पूणे से झांसी और लखनऊ के रास्ते बहराइच पहुंचा था.बीच-बीच में अपने साथियों और हैंडलर्स से वह दूसरों के फोन मांग कर बात करता रहा.
दोस्त अनुराग कश्यप से शिवकुमार ने ट्रेन से एक यात्री से फोन मांग कर बात की थी, तो उसने यह कहा था अखिलेन्द्र, ज्ञान प्रकाश व आकाश ने मिलकर नेपाल में छिपने की व्यवस्था कर ली है. नेपाल जाने के लिए शिवकुमार बहराइच आया था और साथियों के साथ मिलकर नेपाल भागने की फिराक में था. सभी को गिरफ्तार कर थाना नानपारा, बहराईच में लाया गया.
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