इलाहाबाद विश्वविद्यालय (Allahabad University) में फीस वृद्धि के विरोध में चल रहे छात्र आंदोलन के बीच विश्वविद्यालय की कुलपति प्रोफेसर संगीता श्रीवास्तव ने बुधवार को कहा कि फीस वृद्धि के बाद विश्वविद्यालय का मासिक शुल्क लगभग 333 रुपये है.
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कुलपति ने एक बयान जारी कहा कि छात्रों द्वारा यह बात फैलाई जा रही है कि फीस में 400 गुना वृद्धि की गई है जोकि सही नहीं है. उन्होंने दावा किया कि 30-40 विद्यार्थी झूठ के सहारे विश्वविद्यालय का अकादमिक वातावरण बर्बाद करने का प्रयास कर रहे हैं.
कुलपति ने आंदोलनकारी छात्रों से यह पता करने को कहा कि कौन से शिक्षण संस्थान मात्र 333 रुपये प्रतिमाह के शुल्क में गुणवत्तापूर्ण शिक्षा दे रहे हैं.
उन्होंने कहा कि पिछले कई दशकों में बढ़ी महंगाई से मुकाबला करने के लिए फीस बढ़ाई गई है. उन्होंने कहा कि पिछले कई दशक से प्रति विद्यार्थी प्रति वर्ष शुल्क 975 रुपये था, जो लगभग 81 रुपये प्रति माह बैठता है.
वहीं, शुल्क वृद्धि कर इसे 4,151 रुपये प्रति वर्ष कर दिया गया है जो प्रति माह लगभग 333 रुपये बैठता है.
इससे पूर्व दिन में विश्वविद्यालय के छात्र संघ भवन के सामने छात्रों ने फीस वृद्धि के खिलाफ विरोध-प्रदर्शन किया.
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