उत्तर प्रदेश में मानसून की बेरुखी को देखते हुए योगी सरकार ने शनिवार को समीक्षा बैठक की. इस बैठक में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि अन्नदाताओं का नुकसान नहीं होने देंगे. मुख्यमंत्री ने निर्देश देते हुए कहा कि किसानों के ट्यूबवेल के तकनीकी खराबी को हर हाल में 24-36 घंटे में ठीक किया जाए. साथ ही किसानों को पूरी बिजली देने और ट्यूबवेल कनेक्शन न काटने की भी बात कही.
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मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा- इस वर्ष 20 अगस्त तक प्रदेश में कुल 284 मिलीमीटर वर्षा दर्ज की गई है, जो कि वर्ष 2021 में हुई 504.10 मिमी और वर्ष 2020 में हुई 520.3 मिमी वर्षा के सापेक्ष कम है. इस बीच एकमात्र चित्रकूट जनपद ऐसा रहा जहां सामान्य (120% से अधिक) वर्षा हुई. सामान्य वर्षा न होने के कारण खरीफ फसलों की बोआई का कार्य प्रभावित हुआ है. हालांकि 19 जुलाई के बाद हुई बरसात से स्थिति में काफी सुधार हुआ है.
अल्प वर्षा के कारण उत्पन्न चुनौतियों के बीच एक-एक अन्नदाता किसान का हित सुरक्षित रखा जाएगा. खेती-किसानी की जमीनी स्थिति का सूक्ष्मता से आंकलन करते हुए किसानों को हर संभव मदद मुहैया उपलब्ध कराई जाएगी. कम वर्षा के कारण किसानों की फसल को हुए नुकसान की भरपाई की जाएगी.
सीएम योगी ने निर्देश देते हुए कहा- बकाए के कारण किसानों के ट्यूबवेल बिजली कनेक्शन नहीं काटे जाएं. पॉवर कॉर्पोरेशन द्वारा ग्रामीण क्षेत्रों में बिजली आपूर्ति बढ़ाई जाए. इस आदेश का तत्काल अनुपालन कराया जाना सुनिश्चित करें. प्रदेश में 33 जनपद ऐसे हैं जहां सामान्य से 40% से 60% तक ही वर्षा दर्ज की गई है. जबकि 19 जनपदों में 40 फीसदी से भी कम बरसात हुई है. इन जिलों में खरीफ फसलों की बुवाई प्रभावित हुई है. हमें सभी परिस्थितियों के लिए तैयार रहना होगा.
ट्यूबवेल की तकनीकी खराबी को हर हाल में 24 से 36 घंटे के भीतर ठीक करा दिया जाए. इसे शीर्ष प्राथमिकता दिया जाना अपेक्षित है. जहां ट्यूबवेल पर निर्भरता ज्यादा है, वहां सौर पैनल लगाया जाना चाहिए. प्रदेश में वर्षा की स्थिति, फसल बोआई की सही स्थिति की विस्तृत रिपोर्ट अगले तीन दिन के भीतर भारत सरकार को भेजी जाए.
सीएम योगी ने कहा- खरीफ अभियान 2022-23 के अंतर्गत 20 अगस्त की स्थिति के अनुसार प्रदेश में 96.03 लाख हेक्टेयर के लक्ष्य के सापेक्ष 93.22 लाख हेक्टेयर की बोआई हो सकी है, जो कि लक्ष्य का 97.7% ही है. गत वर्ष इसी तिथि तक 98.9 लाख हेक्टेयर भूमि पर बोआई हो चुकी थी. बोआई लक्ष्य के अनुरूप है, लेकिन कम वर्षा के कारण प्रदेश में फसलों को नुकसान होने की संभावना बनी हुई है. यद्यपि 19-20 अगस्त की बारिश के कारण कई जनपदों में राहत मिली है. इन परिस्थितियों के बीच सभी किसान भाइयों से संवाद-संपर्क बनाए रखा जाए.
अभी कम बारिश हुई है, संभव है कि आने वाले कुछ दिनों में तेज और अधिक वर्षा हो. ऐसे में हमें हर परिस्थिति के लिए तैयार रहना होगा. कृषि, सिंचाई, राहत, राजस्व आदि सम्बंधित विभाग अलर्ट मोड में रहें. प्रत्येक जनपद में कृषि विज्ञान केंद्रों, कृषि विश्वविद्यालयों, कृषि वैज्ञानिकों के माध्यम से किसानों से सतत संवाद बनाये रखें.
बारिश के पूर्वानुमान की सटीक जानकारी जरूरी
सीएम योगी ने कहा कि वर्तमान में तहसील स्तरों पर रेन गेज यानी वर्षा मापक यंत्र लगाए गए हैं, इन्हें विकास खंड स्तर पर बढ़ाये जाने की कार्यवाही की जाए. अधिकाधिक वर्षा मापक यंत्रों से वर्षा की और सटीक जानकारी प्राप्त की जा सकेगी. मौसम का सही अनुमान अलर्ट जनजीवन के व्यापक हित को सुरक्षित करता है.
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