Bahraich Wolf Attack: बहराइच में एक तरफ भेड़ियों के हमले रुक नहीं रहे हैं, दूसरी ओर जिले के मेडिकल कॉलेज में भेड़िए के हमलों से घायल लोगों के लिए आरक्षित वॉर्ड में मीडिया प्रवेश के लिए रोक लगा दी गई है. वॉर्ड के बाहर बाकायदा नोटिस लगाकार इस बात की जानकारी दी गई है. नोटिस में लिखा गया है कि अगर किसी भी मरीज से संबंधित जानकारी हासिल करनी है तो उसके लिए चिकत्सा अधीक्षक या मीडिया प्रभारी से संपर्क करना होगा.
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आखिर मीडिया के लिए क्यों लगाई गई रोक?
बहराइच मेडिकल कॉलेज के सीएमएस मदन मोहन त्रिपाठी से इस बाबत सवाल किया गया, जिसके जवाब में उन्होंने कहा, "अंदर इन्फेक्शन का चांस बहुत रहता है. इसलिए डीएम मैडम का निर्देश है कि अंदर कोई मीडिया वाला न जाए. परिवार को बाहर बुलवा लीजिए. मरीज के सही हो जाने पर घर पर जाकर बात कर ली जाए."
उन्होंने कहा, "यह कोई असामान्य चीज नहीं है. आप सवाल पूछकर जाएंगे. बाद में कई और आएंगे सवाल पूछने. इससे मरीज परेशान हो जाता है.
अब 50 साल की महिला पर भेड़िए ने किया वार
आपको बता दें कि बहराइच में अब भेड़िए ने पुष्पा देवी नामक 50 वर्षीय महिला पर हमला किया है. गांव वालों के चिल्लाने पर भेड़िया भागा था. जिस वक्त हमला हुआ उस वक्त बिजली नहीं आ रही थी. इसके अलावा पुष्पा देवी के घर में न दरवाजा था और ना ही कोई एलईडी लाइट. वहीं, जिस समय हमला हुआ उस समय बारिश हो रही थी, जिसका भेड़िए ने फायदा उठा लिया. सीएमएस मदन मोहन त्रिपाठी ने पुष्पा देवी की हालत पर कहा कि 'किसी जंगली जानवर का हमला है, ज्यादा वन विभाग बता पाएगा.'
मार्च से हो रहे हमले
यह घटना क्षेत्र में आदमखोर भेड़िये के आतंक का ताजा उदाहरण है, जो लगातार बच्चों को निशाना बना रहा है. गौरतलब है कि बहराइच के महसी तहसील क्षेत्र में मार्च माह से लोगों पर भेड़ियों के हमले हो रहे हैं. बरसात के मौसम में हमले बढ़े और जुलाई माह से सोमवार रात तक इन हमलों से बच्चों समेत कई लोगों की मौत हो चुकी है. महिलाओं, बच्चों व बुजुर्गो सहित करीब तीन दर्जन लोग घायल हो चुके हैं. इनमें से करीब 20 लोग गंभीर रूप से घायल हैं.
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