उत्तर प्रदेश के आगामी विधानसभा चुनाव को लेकर कांग्रेस पार्टी ने एक बड़ा फैसला लिया है. बता दें कि कांग्रेस ने समाजवादी पार्टी (एसपी) के अध्यक्ष अखिलेश यादव और उनके चाचा और प्रगतिशील समाजवादी पार्टी (लोहिया) के प्रमुख शिवपाल सिंह यादव के खिलाफ अपना उम्मीदवार नहीं उतारने का ऐलान किया है. अखिलेश यादव मैनपुरी जिले की करहल विधानसभा सीट से जबकि शिवपाल यादव इटावा जिले की जसवंतनगर सीट से चुनाव लड़ रहे हैं.
ADVERTISEMENT
करहल और जसवंतनगर विधानसभा क्षेत्रों में तीसरे चरण में 20 फरवरी को वोटिंग होनी है और दोनों ही क्षेत्रों में मंगलवार, एक फरवरी को नामांकन पत्र दाखिल करने की आखिरी तारीख थी.
इटावा में कांग्रेस के जिला अध्यक्ष मलखान सिंह ने यूपी तक को बताया,
“जसवंत नगर विधानसभा से सात आवेदन किए गए थे. सभी ने अपने अपने स्तर से तैयारी कर रखी थी. कई चुनाव से पार्टी ने जसवंतनगर में अपना कैंडिडेट नहीं दिया है. पिछली बार एसपी से गठबंधन हो गया था, जिस कारण से हम लोगों का नुकसान हुआ और हम कमजोर हुए थे. प्रत्याशी न उतारने का यह फैसला बिल्कुल भी अच्छा नहीं है. यह नहीं होना चाहिए था…कार्यकर्ताओं में मायूसी है.”
मलखान सिंह यादव
मैनपुरी से मिली सूचना के अनुसार, उत्तर प्रदेश कांग्रेस के महासचिव प्रकाश प्रधान ने कहा कि पार्टी के शीर्ष नेतृत्व ने निर्देश दिया था कि चूंकि एसपी ने चुनाव में हमारे नेताओं के खिलाफ उम्मीदवार नहीं खड़े किए थे, इसलिए पार्टी करहल से अखिलेश यादव के खिलाफ उम्मीदवार नहीं उतारेगी.
प्रधान ने कहा कि पार्टी ने पहले ज्ञानवती यादव को इस सीट से उम्मीदवार घोषित किया था, लेकिन जब अखिलेश यादव ने यहां से चुनाव लड़ने का फैसला किया तो ज्ञानवती को नहीं उतारने का फैसला लिया गया.
आपको बता दें कि अखिलेश यादव जहां पहली बार अपने पिता मुलायम सिंह यादव की मैनपुरी लोकसभा सीट के अंतर्गत आने वाले करहल क्षेत्र से विधानसभा चुनाव लड़ रहे हैं, वहीं शिवपाल सिंह यादव छठी बार जसवंतनगर सीट से चुनाव मैदान में हैं.
(भाषा के इनपुट्स के साथ)
अखिलेश बोले- ‘लोगों की जेब काटने के लिए आया BJP का एक और बजट’, मायावती ने भी साधा निशाना
ADVERTISEMENT