क्या अब राकेश टिकैत करवाएंगे सरकार और पहलवानों के बीच सुलह? उन्होंने बताया बीच का रास्ता

यूपी तक

• 11:39 AM • 30 May 2023

Wrestlers Protest: भारतीय कुश्ती महासंघ के अध्यक्ष और गोंडा से भाजपा सांसद बृजभूषण शरण सिंह के खिलाफ धरने पर बैठे पहलवानों ने बड़ा ऐलान कर दिया…

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Wrestlers Protest: भारतीय कुश्ती महासंघ के अध्यक्ष और गोंडा से भाजपा सांसद बृजभूषण शरण सिंह के खिलाफ धरने पर बैठे पहलवानों ने बड़ा ऐलान कर दिया है. पहलवान और ओलंपिक पदक विजेता साक्षी मलिक ने तीन पेज का अपना बयान ट्विटर पर शेयर किया है. बयान में कहा गया है कि धरने पर बैठे पहलवान आज यानी मंगलवार शाम 6 बजे अपने पदक हरिद्वार गंगा में प्रवाहित कर देंगे. साथ ही पहलवानों ने इंडिया गेट पर आमरण अनशन पर बैठने की भी घोषणा कर दी है. पहलवानों की इस घोषणा के बाद किसान नेता राकेश टिकैत का बयान सामने आया है. अपने बयान में राकेश टिकैत ने कहा कि भावनाओं में आकर पहलवान कोई कदम न उठाएं. उन्होंने कहा कि ये मेडल न उनके अपने हैं, न ये किसी जाति और स्टेट के हैं, बल्कि ये देश की धरोहर हैं.

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टिकैत ने कहा, “हताश होने की जरूरत नहीं है. लड़ाई उनकी लड़ी जाएगी. उन्होंने अपनी लड़ाई मजबूती से लड़ी. ये महिलाओं और देश के सम्मान की लड़ाई है.’ उन्होंने आगे कहा कि ‘अगर इन मेडल को देना ही है तो सबकी सहमति से राष्ट्रपति जी को पत्र लिखकर उनके सम्मान में हम पदक उन्हें दे देंगे.’

क्या हैं पहलवानों के बयान की मुख्य बातें?

1. ‘हम शांतिपूर्ण आंदोलन कर रहे थे, मगर हमें 28 मई को बर्बरता से गिरफ्तार किया गया. क्या महिला पहलवानों ने अपने साथ हुए यौन उत्पीड़न के लिए न्याय मांगकर अपराध कर दिया है?’

2. ‘पुलिस और तंत्र हमारे साथ अपराधियों जैसा व्यवहार कर रही है, जबकि उत्पीड़क खुली सभाओं में हमारे ऊपर फब्तियां कस रहा है. यहां तक कि पास्को एक्ट को बदलवाने की बात सरेआम कह रहा है. हम महिला पहलवान अंदर से इतना ऐसा महसूस कर रही हैं कि इस देश में हमारा कुछ बचा नहीं है. हमें वे पल याद आ रहे हैं जब हमने ओलंपिक, वर्ल्ड चैंपियनशिप में मेडल जीते थे.’

3. हमारी राष्ट्रपति को, जो खुद एक महिला हैं. मन ने ना कहा, क्योंकि वह हमसे सिर्फ 2 किलोमीटर बैठी सिर्फ़ देखती रहीं, लेकिन कुछ भी बोली नहीं.’

4. ‘हमारे प्रधानमंत्री को, जो हमें अपने घर की बेटियां बताते थे. मन नहीं माना, क्योंकि उन्होंने एक बार भी अपने घर की बेटियों की सुध-बुध नहीं ली. बल्कि नई संसद के उद्घाटन में हमारे उत्पीड़क को बुलाया और वह तेज सफेदी वाली चमकदार कपड़ों में फोटो खिंचवा रहा था. उसकी सफेदी हमें चुभ रही थी. मानो कह रही हो कि मैं ही तंत्र हूं.’

5. ‘इन मेडलों को हम गंगा में बहाने जा रहे हैं, क्योंकि वह गंगा मां हैं. जितना पवित्र हम गंगा को मानते हैं उतनी ही पवित्रता से हमने मेहनत कर इन मेडलों को हासिल किया था. ये मेडल सारे देश के लिए ही पवित्र हैं और पवित्र मेडल को रखने की सही जगह पवित्र माँ गंगा ही हो सकती है, न कि हमें मुखौटा बना फ़ायदा लेने के बाद हमारे उत्पीड़क के साथ खड़ा हो जाने वाला हमारा अपवित्र तंत्र.’

6. ‘मेडल हमारी जान हैं, हमारी आत्मा हैं. इनके गंगा में बह जाने के बाद हमारे जीने का भी कोई मतलब रह नहीं जाएगा. इसलिए हम इंडिया गेट पर आमरण अनशन पर बैठ जाएंगे. आज शाम 6 बजे हम हरिद्वार में अपने मेडल गंगा में प्रवाहित कर देंगे.’

गौरतलब है कि विनेश फोगाट और ओलंपिक पदक विजेता बजरंग, साक्षी मलिक सहित देश के शीर्ष पहलवान 23 अप्रैल से दिल्ली के जंतर-मंतर पर धरना दे रहे हैं, जिसमें एक नाबालिग सहित सात महिला पहलवानों का यौन उत्पीड़न करने के आरोप में सिंह की गिरफ्तारी की मांग की गई है.

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