प्रयागराज में माफिया अतीक अहमद और उसके भाई अशरफ की शनिवार रात को एक मेडिकल कॉलेज के पास तीन हमलावरों ने गोली मारकर हत्या कर दी. दोनों को 2005 के उमेश पाल हत्याकांड के सिलसिले में सुनवाई के लिए प्रयागराज लाया गया था. इस पूरे हत्याकांड को लेकर विश्व हिंदू परिषद ने अपनी प्रतिक्रिया दी है.
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विश्व हिंदू परिषद ने ट्वीट कर कहा, “अतीक अहमद की हत्या में बजरंग दल का नाम लेकर अफवाह उड़ाई जा रही हैं जो, पूर्णतः भ्रामक हैं. हत्या करने वाले कौन हैं इसकी जांच यूपी सरकार करा रही है. सत्य सामने आ ही जाएगा.”
बता दें कि मामले में पुलिस ने रविवार की सुबह तीन आरोपियों के खिलाफ नामजद प्राथमिकी दर्ज की. दर्ज प्राथमिकी के अनुसार, अतीक अहमद और अशरफ की हत्या में लवलेश तिवारी (बांदा), मोहित उर्फ सनी (हमीरपुर) और अरुण मौर्य (कासगंज) के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की गई है.
शूटरों के बारे में जानिए-
अरुण मौर्य
अरुण मौर्य जीआरपी पुलिस हत्याकांड में जेल भी जा चुका है. जेल से छूटने के बाद उसने कासगंज को भी छोड़ दिया था और यहां से बाहर चला गया था.
आरोपी अरुण मौर्य पर लूट के दौरान सिपाही की हत्या करने का आरोप है. कासगंज-बरेली-फर्रुखाबाद रेलवे मार्ग पर उझयानी और सोरों के मध्य चलती ट्रेन में लूट के बाद सिपाही की गोली मारकर हत्या कर दी गई थी. इस मामले में अरुण मौर्य जेल भी गया था. बताया जा रहा है कि जेल जाने के बाद वह पूरी तरह से अपराध की दुनिया में शामिल हो गया.
दूसरा शूटर शनि सिंह
अतीक और अशरफ पर हमला करने वाले दूसरे शूटर का नाम शनि सिंह बताया जा रहा है. यह हमीरपुर जिले के कुरारा कस्बे का रहने वाला है. मिली जानकारी के मुताबिक, शनि सिंह पहले से ही हिस्ट्रीशीटर है. यह पिछले 10 सालों से अपने घर नहीं आया है. इसके माता-पिता की मौत पहले ही हो चुकी है. शनि सिंह हमीरपुर जेल में डॉन सुंदर भाटी के संपर्क में आया था. बताया जा रहा है कि उसके बाद से ही वह शूटर बन गया.
तीसरा शूटर लवलेश तिवारी
अतीक और अशरफ पर हमला करने वाले तीसरे हमलावर का नाम लवलेश तिवारी है. यह यूपी के बांदा का रहने वाला है. बांदा पुलिस अधिकारी के मुताबिक, इसके ऊपर 4 केस दर्ज हैं. लवलेश इससे पहले एक मामले में जेल भी जा चुका है. लवलेश के ऊपर लड़की को थप्पड़ मारने के आरोप में भी केस दर्ज है, उसमें उसे डेढ़ साल की जेल हुई थी.
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