चर्चित रेप के आरोपी मौलाना जरजिस को वाराणसी की फास्ट ट्रैक कोर्ट फर्स्ट ने 10 साल की सश्रम कारावास की सजा सुनाई है. साथ ही 10,000 रुपए का जुर्माना भी लगाया है. हैरानी की बात ये है कि कोर्ट से सजा सुनाए जाने के बाद बाहर निकलने पर मौलाना जरजिस मुस्कुरा रहा था.मौलाना ने कोर्ट के इस फैसले के खिलाफ ऊपर की अदालत में अपील करने की बात बताई है. दरअसल वाराणसी के जैतपुरा इलाके की एक महिला ने मौलाना के ऊपर वर्ष 2016 में रेप का आरोप लगाया था.
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अक्सर अपनी तकरीरों से चर्चा में रहने वाले इटावा जिले के मौलाना जरजिस को बलात्कार के मामले में वाराणसी के फास्ट ट्रैक कोर्ट प्रथम नीरज श्रीवास्तव ने दोषी ठहराते हुए 10 साल की सश्रम कारावास की सजा सुनाई है. साथ ही 10 हजार रुपए का जुर्माना भी लगा दिया है.
यूपी तक से बातचीत में मौलाना ने बताया कि उसे न्यायालय पर पूरा भरोसा है और वह इस निचली अदालत के फैसले को ऊपर की अदालत में चुनौती देगा. मौलाना जरजिस को वाराणसी के फास्ट ट्रैक कोर्ट फर्स्ट नीरज श्रीवास्तव ने बुधवार को न्यायालय में रेप के आरोप में दोषी माना था. जिस कड़ी में आज उसे कोर्ट ने सजा सुनाई है.
साढे 6 साल पहले वाराणसी के जैतपुरा क्षेत्र की एक महिला ने मौलाना पर शादी का झांसा देकर दुष्कर्म सहित कई अन्य आरोप भी लगाते हुए जैतपुरा थाने में मुकदमा दर्ज कराया था. आरोप के मुताबिक वर्ष 2013 में वाराणसी के जैतपुरा क्षेत्र की एक महिला का परिचय मौलाना से हुआ था. इसके बाद से ही जब कभी मौलाना जरजिस वाराणसी आता था तो महिला को शादी का झांसा देकर होटल में दुष्कर्म किया करता था. उसका अश्लील वीडियो बनाकर उसे ब्लैकमेल करने लगा था.
इतना ही नहीं 19 नवंबर 2015 को भी महिला के घर आकर उसके साथ दुष्कर्म किया. पीड़ित महिला ने एक दिसंबर 2015 को जैतपुरा थाने में मौलाना जरजिस के खिलाफ दुष्कर्म ब्लैकमेल और धमकी समेत अन्य धाराओं में मुकदमा दर्ज कराया था. सुनवाई की कड़ी में कल वाराणसी की फास्ट ट्रैक कोर्ट फर्स्ट नीरज श्रीवास्तव ने मौलाना को दोषी करार दिया था.
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