भीषण ठंड में कानपुर में ब्रेन और हार्ट अटैक का खतरा बढ़ता जा रहा है. ठिठुरन बढ़ने के बीच कार्डियोलॉजी हॉस्पिटल में मरीजों की संख्या भी बढ़ती जा रही है. जिले में बीते दो दिनों में ब्रेन और हार्ट अटैक से मरने वाले मरीजों की संख्या बढ़कर 40 से ज्यादा हो गई है.
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बता दें कि कानपुर में कार्डियोलॉजी हॉस्पिटल आसपास के जिलों का सबसे बड़ा हृदय के रोगों का अस्पताल है. यहां कई जिलों से मरीज अपना इलाज कराने आते हैं.जैसे ही ठंड का प्रकोप पूरे उत्तर भारत में बढ़ता जा रहा है, कार्डियोलॉजी में मरीजों की संख्या भी बढ़ती जा रही है.
कार्डियोलॉजी हॉस्पिटल के निदेशक विनय कृष्णा का कहना है कि 2 दिन में 40 से ज्यादा लोगों की मौत हुई है, इसमें से 15 लोगों की मौत इलाज के दौरान हुई और 25 लोगों ने अस्पताल पहुंचने से पहले ही दम तोड़ दिया.
एक्सपर्ट के मुताबिक, ठंड दिल और दिमाग दोनों पर भारी पड़ रही है. डॉक्टरों का कहना है कि ठंड में अचानक ब्लड प्रेशर बढ़ने से नसों में खून का थक्का जम जा रहा है, जिससे हार्ट अटैक और ब्रेन अटैक पड़ रहा है.
कार्डियोलॉजी के निदेशक प्रोफेसर विनय कृष्णा का कहना है कि शीतलहर में रोगी ठंड से बचाव रखें. जरूरत पड़ने पर ही बाहर निकलें, कान-नाक और सिर ढककर ही रखें.
उन्होंने 60 की उम्र के ऊपर लोगों को शीतलहर में बाहर न निकलने की सलाह दी है.साथ ही हृदय रोगियों को रात में हल्का भोजन करना चाहिए, क्योंकि रात को जब ठंड बढ़ जाती है तो ब्लड हार्ट तक जाने की वजह इंटेस्टाइन तक पहुंच जाता है, इसलिए हल्का भोजन करें, ताकि ज्यादा से ज्यादा ब्लड हार्ट तक पहुंच सके.
वहीं, लखनऊ मौसम विज्ञान केंद्र के अनुसार, उत्तराखंड के कुछ इलाकों में बर्फबारी के बाद वहां से चल रही बर्फीली हवाओं ने मैदानी इलाकों में ठिठुरन बढ़ा दी है. हालांकि, शुक्रवार से कुछ बदलाव की संभावना है, लेकिन अगले तीन-चार दिनों तक कड़ाके की ठंड से कोई बड़ी राहत की उम्मीद नहीं है.
कानपुर: भारी पड़ी शीतलहर! एक ही दिन में हार्ट-ब्रेन अटैक से 25 मौतें, एक्सपर्ट ने ये कहा
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