JCB से कट गई थी सीतापुर के रोहित की पूरी कलाई, KGMU के डॉक्टरों ने जोड़कर पहले जैसी बनाई

सत्यम मिश्रा

• 05:52 AM • 03 Aug 2023

Lucknow KGMU News: लखनऊ स्थित किंग जॉर्ज मेडिकल यूनिवर्सिटी (KGMU) ने एक बार और शल्य चिकित्सा में अपना लोहा मनवाया है. आपको बता दें कि…

JCB से कट गई थी सीतापुर के रोहित की पूरी कलाई, KGMU के डॉक्टरों ने जोड़कर पहले जैसी बनाई

JCB से कट गई थी सीतापुर के रोहित की पूरी कलाई, KGMU के डॉक्टरों ने जोड़कर पहले जैसी बनाई

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Lucknow KGMU News: लखनऊ स्थित किंग जॉर्ज मेडिकल यूनिवर्सिटी (KGMU) ने एक बार और शल्य चिकित्सा में अपना लोहा मनवाया है. आपको बता दें कि केजीएमयू अस्पताल के प्लास्टिक एंड रिकंस्ट्रक्टिव विभाग ने हाथ से पूरी तरह से अलग हो चुकी कलाई को शल्य चिकित्सा के माध्यम से पूरी तरह से जोड़ दिया है. इससे अब मरीज का हाथ पहले की तरह हो गया है.

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सीतापुर के रोहित के साथ हुआ था हादसा

दरअसल, सीतापुर के रहने वाले रोहित कुमार अपना और अपने परिवार का भरण पोषण करने के लिए मजदूरी करते हैं. रोजाना की तरह बीती 29 जुलाई को वह मजदूरी कर रहे थे. तभी रोहित के साथ एक दुखद हादसा हो गया, जिसमें जेसीबी मशीन का एक हिस्सा रोहित के दाहिने हाथ पर गिर गया. इसके चलते उनकी कलाई पूरी तरीके से हाथ से अलग हो गई और खून ज्यादा बहने लगा, जिसके बाद वहां पर मौजूद लोगों ने बिना देर किए मरीज को सीतापुर जिला अस्पताल में भर्ती कराया. यहां प्राथमिक चिकित्सा के बाद डॉक्टरों ने रोहित को किंग जॉर्ज मेडिकल विश्वविद्यालय के ट्रॉमा सेंटर रेफर कर दिया गया. KGMU में मरीज को प्लास्टिक एंड रिकंस्ट्रक्टिव विभाग के विभागाध्यक्ष प्रोफेसर विजय कुमार की देख रेख में भर्ती करके इलाज की प्रक्रिया शुरू की गई.

10 घंटे की मेहनत के बाद मिली सफलता

प्लास्टिक एंड रिकंस्ट्रक्टिव विभाग के एचओडी डॉ. विजय कुमार ने बताया कि सबसे पहले कटे हुए भाग का विच्छेदन किया गया और फिर मरीज के हाथ की धमनियों, शिराओं, तंतुओं और नसों को माइक्रोस्कोप की मदद से जोड़ने की प्रक्रिया शुरू की गई. इसमें तकरीबन 10 घंटे लगे. डॉ. कुमार बताते हैं कि 10 घंटे की लंबी शल्य चिकित्सा और कड़ी मेहनत करके मरीज के हाथ का प्रत्यारोपण कर उसे सफल बनाया गया.

ऐसी घटना होने पर तुरंत क्या करें?

डॉ. विजय कुमार ने जागरूक संदेश भी दिया और बताया कि अगर ऐसी घटना घटित हो जाए तो सबसे पहले कटे हुए भाग को साफ कपड़े में लपेट कर प्लास्टिक की थैली में डालें और प्लास्टिक थैली को चारों तरफ बर्फ में रख दें. कटे हुए भाग या अंग पर साफ कपड़ा बांध दें जिससे रक्त स्राव न हो. विजय कुमार आगे बताते हैं कि कटे हुए अंग को जोड़ने का गोल्डन पीरियड 6 से 8 घंटे का ही होता है.

उन्होंने कहा कि ऐसे में इसी समय के अंदर शीघ्र अतिशीघ्र पास के अस्पताल पहुंच कर प्रारंभिक और प्राथमिक उपचार करवा लें और फिर सुविधानुसार बड़े अस्पतालों की तरफ रुख करें, जहां बढ़िया और सुविधाजनक तरीके से इलाज हो सके. प्लास्टिक सर्जरी विभाग, केजीएमयू में यह सुविधा 24×7 उपलब्ध है. साथ ही आवश्यकता पड़ने पर हेल्प लाइन नंबर 9415200444 पर संपर्क करके सहायता प्राप्त कर सकते हैं.

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